UTTARAKHAND: CM धामी ने प्रधानमंत्री को उत्तराखंड की राष्ट्रीय खेलों में भाग लेने का दिया आमंत्रण, विकास कार्यों पर दी जानकारी
उत्तराखंड के मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने सोमवार को नई दिल्ली में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी से शिष्टाचार भेंट की। इस मुलाकात में मुख्यमंत्री धामी ने प्रधानमंत्री को उत्तराखंड में आयोजित होने वाले राष्ट्रीय खेलों के लिए आमंत्रित किया और प्रदेश की सांस्कृतिक धरोहर का प्रतीक मलारी (चमोली) की शॉल और नारायण आश्रम की प्रतिकृति भेंट की। इस भेंट के दौरान मुख्यमंत्री ने उत्तराखंड के विकास के लिए प्रधानमंत्री के नेतृत्व, मार्गदर्शन और सहयोग के लिए प्रदेशवासियों की ओर से आभार व्यक्त किया।
धामी ने प्रधानमंत्री मोदी को राज्य में चल रहे विभिन्न विकास कार्यों की जानकारी दी और यह बताया कि ऋषिकेश – कर्णप्रयाग रेल परियोजना के पहले चरण पर तेज गति से काम हो रहा है। उन्होंने इस परियोजना के शीघ्र पूरा होने की संभावना जताई और कहा कि इससे राज्य की कनेक्टिविटी और पर्यटन को बहुत लाभ होगा। इसके अतिरिक्त उन्होंने टनकपुर बागेश्वर रेल परियोजना का भी जिक्र किया और बताया कि इस परियोजना का सर्वे कार्य पहले ही पूरा हो चुका है। मुख्यमंत्री ने इस परियोजना की स्वीकृति के लिए प्रधानमंत्री से आग्रह किया और पूर्ण वित्तीय व्यय भार को केंद्र सरकार द्वारा वहन किए जाने का अनुरोध किया। उन्होंने कहा, “यह परियोजना राज्य की यातायात व्यवस्था को एक नया आयाम देगी और राज्य के दूरदराज इलाकों में लोगों को बेहतर कनेक्टिविटी मिलेगी।”
मुख्यमंत्री ने प्रधानमंत्री से एक महत्वपूर्ण अनुरोध भी किया। उन्होंने कहा कि ऋषिकेश के पुराने रेलवे स्टेशन को बंद करने और सभी ट्रेनों का संचालन नए योग नगरी रेलवे स्टेशन से किए जाने की योजना पर चर्चा की। इस कदम से न केवल यातायात में सुधार होगा, बल्कि पुराने रेलवे स्टेशन की भूमि का उपयोग नई सड़क व्यवस्था के लिए किया जा सकेगा। मुख्यमंत्री ने इस योजना को राज्य के विकास के लिए अहम कदम बताते हुए प्रधानमंत्री से इसके लिए आवश्यक अनुमोदन का आग्रह किया। धामी ने पीएम मोदी को जल जीवन मिशन की प्रगति के बारे में भी अवगत कराया और इसके तहत केंद्रीय अंशदान की अवशेष धनराशि के शीघ्र अवमुक्त करने की अपील की। उन्होंने कहा, “यह मिशन राज्य के हर घर तक स्वच्छ जल पहुंचाने के लिए महत्वपूर्ण है और इसका त्वरित कार्यान्वयन राज्यवासियों की जीवनशैली में सुधार ला सकता है।”
मुख्यमंत्री ने प्रधानमंत्री से राज्य की सीमित संसाधनों को ध्यान में रखते हुए हरिद्वार-ऋषिकेश गंगा कॉरिडोर और शारदा कॉरिडोर परियोजना के लिए केंद्र सरकार से संसाधन उपलब्ध कराने का आग्रह किया। उन्होंने कहा कि इन परियोजनाओं के जरिए उत्तराखंड में पर्यटन और आस्थावान श्रद्धालुओं के लिए बेहतर सुविधाएं उपलब्ध कराई जा सकती हैं, जो राज्य की अर्थव्यवस्था को भी सशक्त करेगा। मुख्यमंत्री धामी ने प्रधानमंत्री से राज्य में भूतपीय ऊर्जा के दोहन के लिए प्रस्तावित आइसलैंड एंबेसी के सहयोग से एमओयू (मेमोरेंडम ऑफ अंडरस्टैंडिंग) के बारे में भी जानकारी दी। उन्होंने बताया कि भारत सरकार के विभिन्न मंत्रालयों से आवश्यक अनापत्ति पत्र प्राप्त किया जा चुका है और राज्य सरकार इस परियोजना को जल्द से जल्द लागू करना चाहती है। मुख्यमंत्री ने पीएम मोदी से इस परियोजना के लिए सभी तकनीकी और वित्तीय सहयोग प्रदान करने का अनुरोध किया, ताकि उत्तराखंड 2070 तक कार्बन नेट जीरो के लक्ष्य को प्राप्त कर सके। उन्होंने कहा, “उत्तराखंड को पर्यावरण संरक्षण के क्षेत्र में अपनी भूमिका और जिम्मेदारी निभानी है, और इस परियोजना से राज्य की ऊर्जा जरूरतों को भी सुलझाया जा सकता है।” मुख्यमंत्री ने प्रधानमंत्री को सूचित किया कि सड़क परिवहन मंत्रालय में प्रेषित विभिन्न प्रस्तावों में से कई महत्वपूर्ण परियोजनाएं लंबित हैं, जिनमें ऋषिकेश बायपास, हरिद्वार बायपास (पैकेज 2), देहरादून – मसूरी कनेक्टिविटी, देहरादून रिंग रोड, चंपावत बायपास, लालकुआं, हल्द्वानी और काठगोदाम बायपास शामिल हैं।
उन्होंने प्रधानमंत्री से इन परियोजनाओं की स्वीकृति के लिए संबंधित अधिकारियों को निर्देशित करने का अनुरोध किया। इन परियोजनाओं को राज्य के विकास के लिए अत्यंत आवश्यक बताया गया, खासकर यातायात के दबाव को कम करने और पर्यटन क्षेत्र के विस्तार के लिए।
मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने प्रधानमंत्री से इस मुलाकात में राज्य के विभिन्न मुद्दों पर विचार-विमर्श किया और प्रधानमंत्री के नेतृत्व में राज्य के विकास में मदद के लिए आभार व्यक्त किया। मुख्यमंत्री ने उत्तराखंड के लिए प्रधानमंत्री से कई परियोजनाओं की स्वीकृति और वित्तीय सहयोग की उम्मीद जताई। उन्होंने कहा, “हमारे राज्य के लिए प्रधानमंत्री मोदी का मार्गदर्शन हमेशा ही प्रेरणादायक रहा है। उनके नेतृत्व में उत्तराखंड में विकास की दिशा में कई महत्वपूर्ण कदम उठाए गए हैं और हम आशा करते हैं कि आने वाले समय में इन परियोजनाओं के माध्यम से राज्य की जीवनशैली में और अधिक सुधार होगा।”